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CWG हॉकी: न्यूजीलैंड ने किया बड़ा उलटफेर, सेमीफाइनल में हारी भारतीय टीम
गोल्ड कोस्ट। न्यूजीलैंड पुरुष हॉकी टीम ने यहां जारी 21वें राष्ट्रमंडल खेलों के नौवें दिन शुक्रवार को बड़ा उलटफेर करते हुए भारतीय टीम को सेमीफाइनल में 3-2 से मात देकर फाइनल में जगह बना ली। भारत इस मैच में जीत का प्रबल दावेदार माना जा रहा था, लेकिन शुरुआती मिनटों में ह्यूगो इंग्लिश (7वें मिनट), स्टीफन जेनेस (13वें मिनट) के गोलों से टीम दबाव में आ गई। 40वें मिनट में मार्कस चाइल्ड द्वार किए गए गोल ने भारत को और पीछे कर दिया। भारत के लिए दोनों गोल हरमनप्रीत ने 29वें और 57वें मिनट में किए। भारत अब कांस्य पदक की दौड़ में है। आस्ट्रेलिया और इंग्लैंड के बीच दूसरे सेमीफाइनल में जो टीम हारेगी, भारतीय टीम उससे कांस्य पदक के लिए भिड़ेगी।
भारत ने उम्मीद के मुताबिक आक्रामक शुरुआत की और मनदीप ने पहले मिनट में किवी टीम के घेर में हमला बोला। मनदीप ने शानदार शॉट लगाया, लेकिन वो गोल पोस्ट से बाहर चला गया। अगले ही मिनट मनदीप एक बार फिर किवी टीम के घेरे में घुसे, हालांकि इस बार भी सफलता हाथ नहीं लगी। भारतीय टीम आक्रामक थी, लेकिन पहली सफलता न्यूजीलैंड को मिली। पांचवें मिनट में किवी टीम ने भारत की कमजोर रक्षापंक्ति का फायदा उठाया और ह्यूगो ने दाहिने कोने से डी में प्रवेश किया और पी.आर. श्रीजेश को छकाते हुए गेंद को नेट में डाल अपनी टीम को 1-0 से आगे कर दिया।
यहां न्यूजीलैंड की टीम के पास आत्मविश्वास आ गया। हालांकि भारत की आक्रमण पंक्ति कमजोर नहीं पड़ी थी और मौके बनाने की फिराक में थी। इसी बीच किवी टीम ने एक बार फिर भारत के कमजोर डिफेंस का फायदा उठाया। गेंद उछल कर मनदीप के पास आई और जेनेस उनसे गेंद लेकर आगे बढ़े और आसानी से गोल दाग दिया। पहले क्वार्टर में कमजोर रक्षापंक्ति के कारण भारत 0-2 से पीछे था। दूसरे क्वार्टर में भी भारतीय टीम बैकफुट पर रही और दबाव उसके ऊपर साफ नजर आ रहा था। न्यूजीलैंड की टीम हावी थी और मौके बना रही थी। भारत की किस्मत ने साथ दिया और उसे पेनाल्टी स्ट्रोक मिला जिसे हरमनप्रीत ने गोल में तब्दील कर भारत को राहत की सांस दी।
भारत ने उम्मीद के मुताबिक आक्रामक शुरुआत की और मनदीप ने पहले मिनट में किवी टीम के घेर में हमला बोला। मनदीप ने शानदार शॉट लगाया, लेकिन वो गोल पोस्ट से बाहर चला गया। अगले ही मिनट मनदीप एक बार फिर किवी टीम के घेरे में घुसे, हालांकि इस बार भी सफलता हाथ नहीं लगी। भारतीय टीम आक्रामक थी, लेकिन पहली सफलता न्यूजीलैंड को मिली। पांचवें मिनट में किवी टीम ने भारत की कमजोर रक्षापंक्ति का फायदा उठाया और ह्यूगो ने दाहिने कोने से डी में प्रवेश किया और पी.आर. श्रीजेश को छकाते हुए गेंद को नेट में डाल अपनी टीम को 1-0 से आगे कर दिया।
यहां न्यूजीलैंड की टीम के पास आत्मविश्वास आ गया। हालांकि भारत की आक्रमण पंक्ति कमजोर नहीं पड़ी थी और मौके बनाने की फिराक में थी। इसी बीच किवी टीम ने एक बार फिर भारत के कमजोर डिफेंस का फायदा उठाया। गेंद उछल कर मनदीप के पास आई और जेनेस उनसे गेंद लेकर आगे बढ़े और आसानी से गोल दाग दिया। पहले क्वार्टर में कमजोर रक्षापंक्ति के कारण भारत 0-2 से पीछे था। दूसरे क्वार्टर में भी भारतीय टीम बैकफुट पर रही और दबाव उसके ऊपर साफ नजर आ रहा था। न्यूजीलैंड की टीम हावी थी और मौके बना रही थी। भारत की किस्मत ने साथ दिया और उसे पेनाल्टी स्ट्रोक मिला जिसे हरमनप्रीत ने गोल में तब्दील कर भारत को राहत की सांस दी।
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