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मध्य प्रदेश में स्कूलों का नया शिक्षण सत्र शुरू करने को सुझाव मांगे गए
भोपाल। मध्य प्रदेश में कोरोना संक्रमण के चलते तमाम स्कूलों केा 15 जून तक बंद रखे जाने का फैसला हुआ है और इसे आगे भी बढ़ाया जा सकता है। सरकार ने नए शिक्षण सत्र को शुरु करने के लिए सुझाव मंगाए है।
राज्य के स्कूल शिक्षा (स्वतंत्र प्रभार) और सामान्य प्रशासन राज्य मंत्री इन्दर सिंह परमार ने बताया कि कोविड-19 संक्रमण के मददेनजर नवीन शिक्षण-सत्र प्रारंभ करने के संबंध में स्कूल शिक्षा विभाग ने सभी विद्यार्थियों, पालकों, संस्था प्रमुखों, प्राचार्यों, शिक्षकों और आम नागरिकों के सुझाव आमंत्रित किए हैं।
मंत्री श्री परमार ने कहा कि इच्छुक व्यक्ति स्कूल षिक्षा विभाग द्वारा सुझाव देने के लिए बनाई वेबसाइट पर जाकर नवीन शिक्षण सत्र में ऑनलाइन या ऑफलाइन शिक्षण प्रक्रिया के संबंध में कॉमेंट बॉक्स में अपने सुझाव दे सकते हैं। वेबसाइट पर प्राथमिक वर्ग, माध्यमिक वर्ग (कक्षा पहली से आठवी) और उच्चतर माध्यमिक वर्ग (कक्षा नवमीं से 12) के शिक्षण-सत्र संचालन के संबंध में व्यावहारिक सुझाव चाहे गये हैं।
स्कूल शिक्षा मंत्री परमार का कहना है कि मिलने वाले सुझावों के आधार पर नवीन शिक्षण-सत्र की रूपरेखा निर्धारित करने में सहायता मिलेगी।
परमार ने कहा कि संक्रमण और लॉकडाउन के चलते हमने अपने जीवन में बहुत सारे बदलाव देखे हैं। इन परिवर्तनों ने हमारी आवश्यकताओं को नये सिरे से चिन्हित और परिभाषित किया है। इनमें प्रमुख रूप से शिक्षा शामिल है। वर्तमान समय की स्थिति को ध्यान में रखते हुए प्रदेश सरकार स्कूल शिक्षा को विद्यार्थियों के अनुकूल बनाने के लिए निरंतर प्रयास कर रही है, इस दिशा में निरंतर नवाचार भी किये जा रहे हैं।
--आईएएनएस
राज्य के स्कूल शिक्षा (स्वतंत्र प्रभार) और सामान्य प्रशासन राज्य मंत्री इन्दर सिंह परमार ने बताया कि कोविड-19 संक्रमण के मददेनजर नवीन शिक्षण-सत्र प्रारंभ करने के संबंध में स्कूल शिक्षा विभाग ने सभी विद्यार्थियों, पालकों, संस्था प्रमुखों, प्राचार्यों, शिक्षकों और आम नागरिकों के सुझाव आमंत्रित किए हैं।
मंत्री श्री परमार ने कहा कि इच्छुक व्यक्ति स्कूल षिक्षा विभाग द्वारा सुझाव देने के लिए बनाई वेबसाइट पर जाकर नवीन शिक्षण सत्र में ऑनलाइन या ऑफलाइन शिक्षण प्रक्रिया के संबंध में कॉमेंट बॉक्स में अपने सुझाव दे सकते हैं। वेबसाइट पर प्राथमिक वर्ग, माध्यमिक वर्ग (कक्षा पहली से आठवी) और उच्चतर माध्यमिक वर्ग (कक्षा नवमीं से 12) के शिक्षण-सत्र संचालन के संबंध में व्यावहारिक सुझाव चाहे गये हैं।
स्कूल शिक्षा मंत्री परमार का कहना है कि मिलने वाले सुझावों के आधार पर नवीन शिक्षण-सत्र की रूपरेखा निर्धारित करने में सहायता मिलेगी।
परमार ने कहा कि संक्रमण और लॉकडाउन के चलते हमने अपने जीवन में बहुत सारे बदलाव देखे हैं। इन परिवर्तनों ने हमारी आवश्यकताओं को नये सिरे से चिन्हित और परिभाषित किया है। इनमें प्रमुख रूप से शिक्षा शामिल है। वर्तमान समय की स्थिति को ध्यान में रखते हुए प्रदेश सरकार स्कूल शिक्षा को विद्यार्थियों के अनुकूल बनाने के लिए निरंतर प्रयास कर रही है, इस दिशा में निरंतर नवाचार भी किये जा रहे हैं।
--आईएएनएस
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