NSA on 4 in the case of child murder for witchcraft -m.khaskhabar.com
×
khaskhabar
Mar 29, 2024 1:37 pm
Location
Advertisement

जादू-टोना के लिए बच्ची की हत्या के मामले में 4 पर एनएसए

khaskhabar.com : सोमवार, 21 जून 2021 3:03 PM (IST)
जादू-टोना के लिए बच्ची की हत्या के मामले में 4 पर एनएसए
कानपुर (यूपी)| यहां घाटमपुर पुलिस क्षेत्र में नवंबर 2020 में सात साल की बच्ची की हत्या करने वाले दंपति समेत चार आरोपियों के खिलाफ राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (एनएसए) लगाया गया है। चारों ने दिवाली पर एक 'तांत्रिक' (गुप्त) अनुष्ठान के हिस्से के रूप में लड़की हत्या कर उसका जिगर और फेफड़ों को निकाला था।

नि:संतान दंपत्ति ने बच्चे पैदा करने के लिए इस भयानक अपराध को अंजाम दिया था।

कानपुर नगर के जिलाधिकारी आलोक तिवारी ने संवाददाताओं से कहा, "हमने मामले के संबंध में परशुराम और उनकी पत्नी सुनैना समेत चार आरोपियों के खिलाफ राष्ट्रीय सुरक्षा कानून लगाया है।"

एक युवक और उसके साथी ने अपने पड़ोसी की सात साल की एक बच्ची की हत्या कर दी थी, उसके जिगर और फेफड़े निकाले थे और उन्हें अपने चाचा और चाची को दीवाली पर एक 'तांत्रिक' (गुप्त) अनुष्ठान के हिस्से के रूप में खाने के लिए दिया था, ताकि नि:संतान दंपत्ति के बच्चे हो सकें।

पुलिस ने चारों आरोपियों को गिरफ्तार किया था क्योंकि बच्चे के फेफड़े और लीवर सहित कई महत्वपूर्ण अंग गायब थे।

उसके परिवार के सदस्यों ने आरोप लगाया था कि हत्या एक गुप्त प्रथा का परिणाम हो सकता है।

दो युवकों की गिरफ्तारी और पूछताछ के बाद, पुलिस ने शुरू में दावा किया कि लड़की को दो युवकों ने मार डाला था, जब उसने दुष्कर्म करने के उनके प्रयास का विरोध किया था।

हालांकि, लगातार पूछताछ के दौरान, युवक अंकुल टूट गया और अपने नि:संतान चाचा परशुराम और चाची सुनैना के बहकावे में आने के बाद मानव बलि अनुष्ठान के तहत अपने दोस्त वीरन के साथ मिलकर लड़की की हत्या करने की बात कबूल कर ली।

अंकुल ने कबूल किया कि उसने नशे की हालत में अपने दोस्त की मदद से लड़की की हत्या की थी। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि उनके चाचा और चाची ने उन्हें 1,000 रुपये दिए और उन्हें अपने पड़ोसी की सात साल की बेटी का अपहरण करने और उसकी बलि देने और दिवाली की रात उसके महत्वपूर्ण अंगों को लाने के लिए कहा क्योंकि उनका मानना था कि यह एक शुभ समय है।

पुलिस ने कहा कि मानव बलि इसलिए दी गई, ताकि उनकी शादी के 21 साल बाद भी संतानहीनता की समस्या का समाधान हो सके।

स्थानीय लोगों ने दावा किया कि परशुराम पिछले कुछ सालों से 'तांत्रिक' और ज्योतिषियों से संपर्क में था।

--आईएएनएस

ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे

Advertisement
Khaskhabar UP Facebook Page:
Advertisement
Advertisement