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सबक पर शास्त्रीय नृत्य कथक का रंग जमा
जयपुर । कथक नृत्य की नज़ाकत को ऑनलाइन दर्शको ने खूब सराहा। अवसर था गुलजार वायलिन अकादमी की ओर से आयोजित संगीत सभा सबक का जहां कथक की प्रसिद्ध कलाकार डॉ. स्वाति अग्रवाल और उभरती कलाकार चार्वी वे स्नेहल ने एक से बढ़कर प्रस्तुति पेश कि ।
ध्रुव पब्लिक स्कूल मे गुलज़ार वायलिन अकादमी की ओर से आयोजित मासिक कार्यक्रम की शुरुआत मुख्य अतिथि पंडित गिरधारी महाराज के स्वागत से की सचिव गुलाम फरीद वे अध्यक्ष गुलज़ार हुसैन ने माँ सरस्वती के चित्र पर माल्यार्पण किया। इस अवसर पर चार्वी खंडेलवाल व स्नेहल अग्रवाल ने कार्यक्रम की शुरुआत गणेश श्लोक से की इसके पश्चात् ताल, थाट, आमद, परन, तोड़े, फरमाईशी तिहाई ताल त्रिताल में तिस्त्र जाति की कवित्त, शिव कवित्त, चक्कर के टुकड़े, लड़ी प्रस्तुत किये ।
डॉ. स्वाति अग्रवाल ने. गुरु श्लोक के बाद ताल त्रिताल मे उठान, थाट, परम्परिक आमद, गोपुच्छा यति, तिपल्ली, तिहाईयों में सवाल - जवाब, कवित्त, तत्कार आदि की प्रस्तुत दी । सावन पर आधारित रचना जो कि विरहोत्कंठिता नायिका के मनोभाव व्यक्त करती है को बेहद खूबसूरत अंदाज़ में प्रस्तुत किया।
संगत तबला पर कौशल कांत पँवार, आदित्य सिंह राठौड़, गायन व नगमे पर श्री रमेश मेवाल ने की।
इस मौके पर युवा कलाकार चार्वी खंडेलवाल व स्नेहल अग्रवाल को उदयमान साधिका उपाधि, डॉ. स्वाति अग्रवाल को सुर श्रृंगार रत्न उपाधि से सम्मानित किया ।
कार्यक्रम मे शीला राठौड़, नीरज प्रजापति , तान्या भादुड़ी, डॉ.प्रतिष्ठा पारीक, मेराज, मोहम्मद उमर , गुलाम फरीद, अजय चौधरी, अन्वी सचेति, यशा शामसुखा ने ऑनलाइन रहकर सभी का धन्यवाद ज्ञापित किया।
ध्रुव पब्लिक स्कूल मे गुलज़ार वायलिन अकादमी की ओर से आयोजित मासिक कार्यक्रम की शुरुआत मुख्य अतिथि पंडित गिरधारी महाराज के स्वागत से की सचिव गुलाम फरीद वे अध्यक्ष गुलज़ार हुसैन ने माँ सरस्वती के चित्र पर माल्यार्पण किया। इस अवसर पर चार्वी खंडेलवाल व स्नेहल अग्रवाल ने कार्यक्रम की शुरुआत गणेश श्लोक से की इसके पश्चात् ताल, थाट, आमद, परन, तोड़े, फरमाईशी तिहाई ताल त्रिताल में तिस्त्र जाति की कवित्त, शिव कवित्त, चक्कर के टुकड़े, लड़ी प्रस्तुत किये ।
डॉ. स्वाति अग्रवाल ने. गुरु श्लोक के बाद ताल त्रिताल मे उठान, थाट, परम्परिक आमद, गोपुच्छा यति, तिपल्ली, तिहाईयों में सवाल - जवाब, कवित्त, तत्कार आदि की प्रस्तुत दी । सावन पर आधारित रचना जो कि विरहोत्कंठिता नायिका के मनोभाव व्यक्त करती है को बेहद खूबसूरत अंदाज़ में प्रस्तुत किया।
संगत तबला पर कौशल कांत पँवार, आदित्य सिंह राठौड़, गायन व नगमे पर श्री रमेश मेवाल ने की।
इस मौके पर युवा कलाकार चार्वी खंडेलवाल व स्नेहल अग्रवाल को उदयमान साधिका उपाधि, डॉ. स्वाति अग्रवाल को सुर श्रृंगार रत्न उपाधि से सम्मानित किया ।
कार्यक्रम मे शीला राठौड़, नीरज प्रजापति , तान्या भादुड़ी, डॉ.प्रतिष्ठा पारीक, मेराज, मोहम्मद उमर , गुलाम फरीद, अजय चौधरी, अन्वी सचेति, यशा शामसुखा ने ऑनलाइन रहकर सभी का धन्यवाद ज्ञापित किया।
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