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34 साल पहले हुए सिख विरोधी दंगों में मिला न्याय, दो दोषी करार
नई दिल्ली। चौतीस साल पहले हुए सिख दंगों के मामले में अदालन ने दो लोगों को दोषी करार दे दिया है। इन दोनों लोगों पर दक्षिण दिल्ली के महिपालपुर गांव में दो सिख युवकों की हत्या का दोषी पाया गया है।
केंद्र सरकार के निर्देश पर स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम (एसआईटी) के बनने के बाद से यह पहला ऐसा केस है, जो तीन सालों के भीतर ही परिणाम तक पहुंच पाया है।अडिशनल सेशन जज अजय पांडे ने 130 पन्नों के अपने निर्णय में नरेश सेहरावत और यशपाल सिंह को हत्या का दोषी करार दिया।
हत्या के साथ-साथ अदालत ने दोनों को हमले के इरादे से घर में जबरन घुसने, हत्या का प्रयास, घातक हथियार से चोट पहुंचाने, डकैती, आग लगाने की शरारत जैसे अपराधों का भी दोषी पाया है। अदालत ने समय पर निर्णय पर पहुंचने के लिए अभियोजन के वकीलों, एसआईटी और जांच अधिकारी की तारीफ की।
केंद्र सरकार के निर्देश पर स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम (एसआईटी) के बनने के बाद से यह पहला ऐसा केस है, जो तीन सालों के भीतर ही परिणाम तक पहुंच पाया है।अडिशनल सेशन जज अजय पांडे ने 130 पन्नों के अपने निर्णय में नरेश सेहरावत और यशपाल सिंह को हत्या का दोषी करार दिया।
हत्या के साथ-साथ अदालत ने दोनों को हमले के इरादे से घर में जबरन घुसने, हत्या का प्रयास, घातक हथियार से चोट पहुंचाने, डकैती, आग लगाने की शरारत जैसे अपराधों का भी दोषी पाया है। अदालत ने समय पर निर्णय पर पहुंचने के लिए अभियोजन के वकीलों, एसआईटी और जांच अधिकारी की तारीफ की।
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