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आंगनबाडी कार्यकताओं की शक्ति पहचान कर उन्हें विकास में भागीदार बनायें-भदेल

khaskhabar.com : बुधवार, 23 मई 2018 9:55 PM (IST)
आंगनबाडी कार्यकताओं की शक्ति पहचान कर उन्हें विकास में भागीदार बनायें-भदेल
धौलपुर । महिला एवं बाल विकास राज्य मंत्री अनिता भदेल ने बुधवार को धौलपुर कलेक्ट्रेट में बैठक लेकर जिले में संचालित विभागीय योजनाओं की समीक्षा की। भदेल ने जिला कलेक्टर मुख्य कार्यकारी अधिकारी रामवतार मीणा और विभागीय अधिकारियों को निर्देश दिए कि आंगनबाडी कार्यकर्ता, सहायिका आदि की शक्तियों को पहचान कर उनका उपयोग इस विभाग के साथ-साथ अन्य विभागों की योजनाओं जैसे स्वच्छ भारत मिशन आदि के प्रचार-प्रसार में करें।
उन्होंने कहा कि किराये के भवन में चल रहे आंगनबाडी केन्द्रों के सरकारी भवन बनाने के लिए जनप्रतिनिधियों व भामाशाहों की मदद ली जाये। भवन निर्माण के लिए बजट की कमी नहीं है लेकिन भूमि मिलने में समस्या आ रही है। हमने अजमेर शहर में 20 आंगनबाडी केन्द्रों के सरकारी भवन बनाये हैं। धौलपुर समेत जिले के अन्य शहरों में भी जमीन मिल सकती है, बस इच्छा शक्ति चाहिए। जिले में 329 आंगनबाडी केन्द्रों के भवन का निर्माण वर्तमान सरकार के कार्यकाल में हुआ है। उन्होंने कहा कि शहरी क्षेत्र में साढे 4 लाख रुपये तथा ग्रामीण क्षेत्र में साढे 5 लाख रुपये का बजट आंगनबाडी के भवन निर्माण के लिए दिया जा रहा है।
राजश्री योजना की प्रगति की समीक्षा करते हुए उन्होंने कहा कि 25 हजार 701 पात्र बालिकाओं को भुगतान किया जाना था लेकिन 24 हजार 109 को ही भुगतान हुआ है। शेष बालिकाओं की माता के बैंक खातों में जल्द ही लाभ राशि जमा करवाई जाये। प्रधानमंत्री मातृ वन्दना योजना में जिले में 4046 महिलाओं को लाभान्वित किया जा चुका है। राज्य मंत्री ने इस योजना का गॉंव-ढाणी तक प्रचार-प्रसार करने के निर्देश दिए।
राज्य मंत्री ने जिले में संचालित 73 नन्दघरों में संचालित गतिविधियों की समीक्षा की तथा इनमें उपलब्ध सुविधाओं के विस्तार के लिए स्थानीय जनसमुदाय से सहयोग लेने के निर्देश दिए। जिले के 1016 आंगनबाडी केन्द्रों पर वर्तमान में 26 हजार 781 बच्चों को शाला पूर्व शिक्षा दी जा रही है। राज्य मंत्री ने कहा कि प्ले स्कूल में हजारों रुपये की फीस देने पर जो सुविधा और माहौल मिलता है, वह हमारे इन केन्द्रों पर निःशुल्क उपलब्ध है। जिले के 20 आंगबाडी केन्द्रों को आदर्श आंगनबाडी के रूप में विकसित किया गया है। उन्होंने कहा कि आंगनबाडी केन्द्रों पर मिल रहे पोषाहार की जनप्रतिनिधि व अधिकारी निरन्तर जॉंच करें तथा गुणवत्ता में कमी पाये जाने पर सीधे मुझसे सम्पर्क करें। इस अवसर पर स्थानीय जन प्रतिनिधि एवं संबंधित अधिकारी मौजूद थे।

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