Advertisement
विभाग की लापारवाही से बीपीएल का फर्जीवाड़ा
ज्वालामुखी। खाद्य एंव आपूर्ति विभाग की लापारवाही की वजह से इलाके में अपात्र लोग बीपीएल का फायदा ले रहे हैं। मिली जानकारी के मुताबिक विभाग की डिजिअलाईजेशन होने के बाद पिछले दो सालों से विभाग अपनी वेबसाईट को अपडेट ही नहीं कर पाया है। अब सरकारी डिपूओं में उपभोक्तओं को राशन आनलाईन दिया जाता है। इसके अलावा विभाग की ओर से स्वाईप कार्ड दिये गये हैं। लेकिन विभाग की वेबसाईट में दो साल पहले अपलोड किये गये नाम जस के तस हैं।
हालांकि इस दौरान बड़े पैमाने पर बीपीएल और अंत्योदय सूचि में कई क्षेत्रों में बदलाव हो चुका है। कुछ नाम काटे जा चुके हैं,तो कुछ जोड़े जा चुके हैं। खासकर शहरी इलाकों में नगर परिषद अपात्र लोगों को बीपीएल व अंत्येादय सूचि में नाम काट कर दूसरों को डालती है और इसकी सूचि बाकायदा खाद्य एवं आपूर्ति विभाग व राशन के डिपो के संचालक को दी जाती है। लेकिन ज्वालामुखी और देहरा में अभी तक वही लोग बीपीएल का फायदा ले रहे हैं,जो दो साल पहले लेते थे। इन लोगों के नाम नगर परिषद तो काट चुकी है। लेकिन खाद्य एवं आपूर्ति विभाग ने अपनी वेबसाईट को अपडेट ही नहीं होने की वजह से हटे नहीं हैं।
जिससे नये लोग तो बीपीएल व अंत्येादय सूचि में आ गये। लेकिन पुराने लोग भी उसी तरह राशन लेते रहे। चूंकि अपात्र लोग वेबसाईट से पुराने कार्ड को अपलोड कर इस फर्जीवाड़े को अंजाम दे रहे हैं। विभाग की ओर से देहरा में निरिक्षक हैं। व वहां बाकायदा एक डीटीपी आप्रटेर है। लेकिन यह लोग बेखबर रहे। जिससे सरकार की ओर से दी जा रही सबसिडी का फायदा वह लोग ले रहे हैं,जो इसके पात्र ही नहीं हैं। बीपीएल श्रेणी में आने वाले लोगों को कई दूसरे फायदे भी मिलते हैं। अब लोग मांग कर रहे हैं कि विभाग में लापारवाही बरतने वाले कर्मियों के खिलाफ कदम उठाये जायें व फर्जी तरीके से बीपीएल का फायदा लेने वालों से रिकवरी की जाये।
हालांकि इस दौरान बड़े पैमाने पर बीपीएल और अंत्योदय सूचि में कई क्षेत्रों में बदलाव हो चुका है। कुछ नाम काटे जा चुके हैं,तो कुछ जोड़े जा चुके हैं। खासकर शहरी इलाकों में नगर परिषद अपात्र लोगों को बीपीएल व अंत्येादय सूचि में नाम काट कर दूसरों को डालती है और इसकी सूचि बाकायदा खाद्य एवं आपूर्ति विभाग व राशन के डिपो के संचालक को दी जाती है। लेकिन ज्वालामुखी और देहरा में अभी तक वही लोग बीपीएल का फायदा ले रहे हैं,जो दो साल पहले लेते थे। इन लोगों के नाम नगर परिषद तो काट चुकी है। लेकिन खाद्य एवं आपूर्ति विभाग ने अपनी वेबसाईट को अपडेट ही नहीं होने की वजह से हटे नहीं हैं।
जिससे नये लोग तो बीपीएल व अंत्येादय सूचि में आ गये। लेकिन पुराने लोग भी उसी तरह राशन लेते रहे। चूंकि अपात्र लोग वेबसाईट से पुराने कार्ड को अपलोड कर इस फर्जीवाड़े को अंजाम दे रहे हैं। विभाग की ओर से देहरा में निरिक्षक हैं। व वहां बाकायदा एक डीटीपी आप्रटेर है। लेकिन यह लोग बेखबर रहे। जिससे सरकार की ओर से दी जा रही सबसिडी का फायदा वह लोग ले रहे हैं,जो इसके पात्र ही नहीं हैं। बीपीएल श्रेणी में आने वाले लोगों को कई दूसरे फायदे भी मिलते हैं। अब लोग मांग कर रहे हैं कि विभाग में लापारवाही बरतने वाले कर्मियों के खिलाफ कदम उठाये जायें व फर्जी तरीके से बीपीएल का फायदा लेने वालों से रिकवरी की जाये।
ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
Advertisement
Advertisement
धर्मशाला
हिमाचल प्रदेश से
सर्वाधिक पढ़ी गई
Advertisement