Advertisement
रूप चतुर्दशी के साथ ही आज ही नरक चतुर्दशी, जलाए जाते हैं 14 दीपक
दीपावली के एक दिन पूर्व नरक चतुर्दशी का पर्व मनाया जाता है। यह कार्तिक कृष्ण चतुर्दशी तिथि के दिन मनाया जाता है। इस दिन मां काली, भगवान श्रीकृष्ण, बजरंगबली और यमराज का पूजन किया जाता है। इसके अन्य नाम यम चतुर्दशी, रूप चतुर्दशी, रूप चौदस और छोटी दिवाली भी है।
इस बार 3 नवंबर को रूप चतुर्दशी या नरक चौदस का पर्व मनाया जाएगा। इस दिन त्रयोदशी तिथि का समापन प्रात: 09.02 मिनट पर हो चुका है और चतुर्दशी तिथि शुरू हो चुकी है, जोकि गुरुवार, 4 नवंबर 2021 को प्रात: 06.03 मिनट तक जारी रहेगी। रूप चौदस या नरक चतुर्दशी 3 नवंबर को ही मनाई जा रही है। कहा जाता है कि इस दिन तेल और उबटन लगाकर स्नान करना चाहिए। इस दिन सूर्योदय से पहले स्नान करके लोग सौभाग्य, रूप और यश की कामना करते हैं। रूप चतुर्दशी के दिन इस खास समय पर स्नान करने से आपकी सुंदरता में चार चांद लग जाएंगे। चतुर्दशी तिथि की शुरुआत 3 नवंबर को सुबह 9.02 बजे होगी जो अगले दिन 4 नवंबर को सुबह 6.03 बजे तक रहेगी।
इस बार 3 नवंबर को रूप चतुर्दशी या नरक चौदस का पर्व मनाया जाएगा। इस दिन त्रयोदशी तिथि का समापन प्रात: 09.02 मिनट पर हो चुका है और चतुर्दशी तिथि शुरू हो चुकी है, जोकि गुरुवार, 4 नवंबर 2021 को प्रात: 06.03 मिनट तक जारी रहेगी। रूप चौदस या नरक चतुर्दशी 3 नवंबर को ही मनाई जा रही है। कहा जाता है कि इस दिन तेल और उबटन लगाकर स्नान करना चाहिए। इस दिन सूर्योदय से पहले स्नान करके लोग सौभाग्य, रूप और यश की कामना करते हैं। रूप चतुर्दशी के दिन इस खास समय पर स्नान करने से आपकी सुंदरता में चार चांद लग जाएंगे। चतुर्दशी तिथि की शुरुआत 3 नवंबर को सुबह 9.02 बजे होगी जो अगले दिन 4 नवंबर को सुबह 6.03 बजे तक रहेगी।
ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
Advertisement
यह भी प�?े
Advertisement
जीवन मंत्र
Advertisement