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पोस मशीन से फर्जी तरीके से उठाया राशन, डीलर के खिलाफ मामला दर्ज

khaskhabar.com : शनिवार, 29 जुलाई 2017 10:36 AM (IST)
पोस मशीन से फर्जी तरीके से उठाया राशन, डीलर के खिलाफ मामला दर्ज
चित्तौड़गढ़। जिले में उचित मूल्यों की दुकानों पर पोस मशीन से फर्जी तरीके से राशन डीलरों द्वारा गरीबों का राशन उठाने के मामले लगातार सामने आ रहे हैं। पिछले दिनों कपासन तहसील में पोस मशीन से राशन डीलरों द्वारा फर्जी तरीके से गेंहू ओर केरोसिन उठाने के मामले में कपासन थाने में प्रकरण भी दर्ज हुए हैं।
इधर शुक्रवार को सावा में एक राशन डीलर द्वारा लोगों के आधार पोस मशीन में लिंक कर गेंहू और राशन उठाने का शंभूपुरा थाने में मामला दर्ज हुआ हैं। शंभूपुरा थानाधिकारी गज सिंह ने बताया कि हितेश जोशी प्रवतन अधिकारी जिला रसद कार्यालय चित्तौड़ ने एक रिपोर्ट दी कि सावा गांव के उचित मुल्य की दुकान के दुकानदार आवेश अख्तर ने दूकान की पोश मशीन में लोगो के आधार कार्ड का दुरूपयोग कर 176 अवैध ट्रांन्जेक्सन कर 42.80 क्विंटल गेहू व 442.5 लीटर केरोसिन का आहरण कर दुरुपयोग किया और स्वयं के लाभ के लिए गबन किया।
जिस पर आवेश अख्तर के विरुद्ध धारा 3/7 व 3/8 ई.सी. एक्ट में प्रकरण दर्ज कर अनुसंधान थानाधिकारी द्वारा किया जा रहा हैं।

पोस मशीन में ओटीपी से हो सकती हैं हेराफेरी

नये राशन कार्ड जारी होने के साथ ही राज्य सरकार ने कालाबाजारी रोकने के लिए पोस मशीन से लोगों को राशन देने का काम शुरू किया। जिसके बाद नये राशनकार्ड बनते समय आधार से लिंक किया गया। उसके बाद उचित मूल्य की दुकान पर पोस मशीन से राशन वितरण होने लगा। एक ही परिवार के राशन कार्ड में दर्ज सदस्यों में से कोई भी राशन डीलर की दुकान पर जाकर राशन ले सकता हैं। इसके लिए राशन कार्ड के सीरियल नम्बर पोस मशीन में दर्ज करते ही राशन कार्ड में जितने भी नाम और उनके आधार नम्बर शो हो जाते हैं।

राशन कार्ड में सबंधित व्यक्ति का आधार सलेक्ट करके उसके थम्ब अथवा अंगुलियां लेकर राशन दिया जा रहा था। लेकिन इसमें ग्रामीण क्षेत्र में काफी समस्या आई कि लोगों की अंगुलियां आधार से मेच नही होने हो रही हैं। इसके बाद नये आदेश जारी किए जिसके तहत पोस मशीन में थम्ब और अंगुलियों के नही आने पर ओटीपी यानी वन टाइम पासवर्ड मोबाइल पर आता हैं और राशन डीलर उस ओटीपी को पोस मशीन में अंकित कर लोगों को राशन देते हैं। कई राशन डीलरों ने संभवतया पोस मशीन में ओटीपी का गलत उपयोग कर गेंहू और केरोसिन की कालाबाजारी करते हैं।

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