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प्राईवेट स्कूल के ऐसे हालात देख चौंके जिला शिक्षा अधिकारी, महज 18 बच्चे मिले
बून्दी। बाहरली बून्दी स्थित दधिमति सीनियर सैकंडरी विद्यालय में जिला शिक्षा अधिकारी माध्यमिक तेजकंवर ने औचक निरीक्षण किया । निरिक्षण के दौरान विद्यालय में काफी अनियमितताए देखने को मिले। 12 वीं तक के विद्यालय में मात्र 18 छात्र ही उपस्थित मिले।
स्कूल उच्च माध्यमिक स्तर का बताया गया है साथ ही बच्चों के हाजिरी रजिस्टर भी गायब मिले रजिस्टर में केवल स्टॉक रजिस्टर मिला जिसमे भी अध्यापकों के हस्ताक्षर नहीं थे । निरीक्षण के दौरान स्कूल में अध्यापक पासबुक से पढ़ाते हुए मिले।एक क्लास में पाॅच क्लासो के बच्चों को बिठाकर पढाया जा रहा था। प्राइवेट स्कूल के शौचालयो की हालत सरकारी स्कूल से भी बदत्तर मिली, पानी की टंकी तक टूटी हुई मिली, स्कूल स्टाफ भी पर्याप्त मात्रा में दर्शाए हुए अनुसार नहीं मिला ,स्कूल प्राचार्य परशुराम मीणा समय पर स्कूल से नदारद मिले ,स्टाफ ने बताया कि रोज हाजिरी रजिस्टर में बच्चों की हाजिरी लेते हैं पर आज प्राचार्य जरूरी काम से कहीं बाहर जाने की वजह से अलमारी के ताला लगा हुआ है इसलिए आज बच्चों की उपस्थिति नहीं ली ।
स्कूल भवन में पर्याप्त कमरे नहीं मिले, पूरा स्कूल भवन जीर्ण शीर्ण अवस्था में पाया गया। जिससे शिक्षा अधिकारी ने विद्यालय फर्जी तरीके से संचालित होने का अनुमान लगाया, साथ ही गृह विज्ञान भवन में कबाड़ भरा हुआ था प्राइवेट स्कूल में लाइट कनेक्शन प्रत्येक कमरों में ओपन देखने को मिले जिससे कभी भी हाई वोल्टेज होने से बैठे हुए बच्चों पर करंट लगने से बड़ा हादसा होने की संभावनाएं साफ नजर आ रही थी। विद्यालय में पीने के पानी कि टंकी व शौचालयों किव्यवस्थाए देख जिला शिक्षा अधिकारी ने खासी नाराजगी जाहीर कि।
स्कूल समिति अध्यक्ष के पद पर कार्यरत गिरिराज दाधीच ने मान्यता रद्द करने की अर्जी पूर्व जिला शिक्षा अधिकारी के पास लगाई हुई थी उस पर मान्यता रद्द करने का अनुमोदन भी पूर्व शिक्षा अधिकारी रमेश चंद ने कर बीकानेर भेज दिये थे। लेकिन स्कूल प्रिंसिपल परशुराम मीणा द्वारा आज तक अनियमितताओं के साथ जबरन विद्यालय संचालित किया जा रहा है।
स्कूल उच्च माध्यमिक स्तर का बताया गया है साथ ही बच्चों के हाजिरी रजिस्टर भी गायब मिले रजिस्टर में केवल स्टॉक रजिस्टर मिला जिसमे भी अध्यापकों के हस्ताक्षर नहीं थे । निरीक्षण के दौरान स्कूल में अध्यापक पासबुक से पढ़ाते हुए मिले।एक क्लास में पाॅच क्लासो के बच्चों को बिठाकर पढाया जा रहा था। प्राइवेट स्कूल के शौचालयो की हालत सरकारी स्कूल से भी बदत्तर मिली, पानी की टंकी तक टूटी हुई मिली, स्कूल स्टाफ भी पर्याप्त मात्रा में दर्शाए हुए अनुसार नहीं मिला ,स्कूल प्राचार्य परशुराम मीणा समय पर स्कूल से नदारद मिले ,स्टाफ ने बताया कि रोज हाजिरी रजिस्टर में बच्चों की हाजिरी लेते हैं पर आज प्राचार्य जरूरी काम से कहीं बाहर जाने की वजह से अलमारी के ताला लगा हुआ है इसलिए आज बच्चों की उपस्थिति नहीं ली ।
स्कूल भवन में पर्याप्त कमरे नहीं मिले, पूरा स्कूल भवन जीर्ण शीर्ण अवस्था में पाया गया। जिससे शिक्षा अधिकारी ने विद्यालय फर्जी तरीके से संचालित होने का अनुमान लगाया, साथ ही गृह विज्ञान भवन में कबाड़ भरा हुआ था प्राइवेट स्कूल में लाइट कनेक्शन प्रत्येक कमरों में ओपन देखने को मिले जिससे कभी भी हाई वोल्टेज होने से बैठे हुए बच्चों पर करंट लगने से बड़ा हादसा होने की संभावनाएं साफ नजर आ रही थी। विद्यालय में पीने के पानी कि टंकी व शौचालयों किव्यवस्थाए देख जिला शिक्षा अधिकारी ने खासी नाराजगी जाहीर कि।
स्कूल समिति अध्यक्ष के पद पर कार्यरत गिरिराज दाधीच ने मान्यता रद्द करने की अर्जी पूर्व जिला शिक्षा अधिकारी के पास लगाई हुई थी उस पर मान्यता रद्द करने का अनुमोदन भी पूर्व शिक्षा अधिकारी रमेश चंद ने कर बीकानेर भेज दिये थे। लेकिन स्कूल प्रिंसिपल परशुराम मीणा द्वारा आज तक अनियमितताओं के साथ जबरन विद्यालय संचालित किया जा रहा है।
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